Dastan-E-Sahil
Tuesday, July 29, 2014
हर मुहाज-ऐ- ज़िन्दगी पे, वक़्त से हारा हूँ मैं
वक़्त से लड़ता हुआ इक वक़्त का मारा हूँ मैं
मोहन गोडबोले "साहिल" - २२/३/१२
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